श्रमिक संघर्ष वेबिनार-5: ‘महिला श्रमिक और उनके संघर्ष’
पूँजीवादी समाज में श्रमिकों में भी महिला श्रमिकों की स्थिति पुरुष श्रमिकों की तुलना में अलग और कमतर होती है। भारत में महिलाएँ अपना श्रम खेती में, उद्योगों में, गारमेंट निर्माण में , आंगनवाड़ी-आशाकर्मियों के रूप में जागरूकता फ़ैलाने के कार्य में और अनेक प्रकार के कार्यों में लगाती हैं। जोशी-अधिकारी इंस्टिट्यूट द्वारा एटक (AITUC) के शताब्दी वर्ष के अवसर पर भारत की मेहनतकश जनता के विभिन्न तबकों पर केंद्रित वेबिनार श्रृंखला आयोजित की जा रही है। इसी श्रृंखला की पाँचवीं कड़ी में सुनिए महिला श्रमिकों पर केंद्रित वेबिनार। इस वेबिनार में कॉमरेड वहीदा निज़ाम (तमिलनाडु), कॉमरेड सरोज (पंजाब), कॉमरेड सुरेखा (हरयाणा), कॉमरेड कविता राजन (केरल) और कॉमरेड सत्यानंद (कर्नाटक) ने अपने वक्तव्य दिये।कॉमरेड विजयलक्ष्मी (तेलंगाना) और कॉमरेड एनी राजा ने अपनी विशेष टिप्पणियाँ और शुभकामनाएँ दीं और वेबिनार का संयोजन किया डॉ. जया मेहता ने।